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Ola Electric Layoff: ओला इलेक्ट्रिक कर सकती है 500 कर्मचारियों की छंटनी, ये है वजह

Ola Electric

Ola Electric Layoff: Ola Electric may lay off 500 employees, this is the reason

Ola Electric Layoff: ओला इलेक्ट्रिक ने IPO लॉन्च करने से पहले दो बार रीस्ट्रक्चरिंग की थी। अब एक बार फिर इलेक्ट्रिक व्हीकल (EV) कंपनी रीस्ट्रक्चरिंग करने जा रही है और इस बार करीब 500 कर्मचारियों को झटका लग सकता है। जानिए इससे पहले कब रीस्ट्रक्चरिंग की गई थी और इसके तहत क्या हुआ था और एक बार फिर ऐसा क्यों होने जा रहा है?

Ola Electric Layoff: इलेक्ट्रिक व्हीकल (EV) कंपनी ओला में छंटनी होने जा रही है। भाविश अग्रवाल की EV कंपनी अपने बिजनेस स्ट्रक्चर में बदलाव कर रही है, यानी एक बार फिर इसका रीस्ट्रक्चरिंग किया जाएगा, जिससे कंपनी के अंदर अलग-अलग डिपार्टमेंट के करीब 500 कर्मचारियों को झटका लग सकता है।

Ola Electric Layoff: मनीकंट्रोल को सूत्रों से यह जानकारी मिली है। सूत्रों के मुताबिक कंपनी मुनाफे को हासिल करने की कोशिश में अपने मार्जिन को बेहतर बनाने के लिए छंटनी का रास्ता अपना रही है। यह ऐसे समय में हो रहा है जब करीब सात महीने पहले ओला इलेक्ट्रिक की कंपनी ओला कंज्यूमर ने रीस्ट्रक्चरिंग प्लान तैयार किया था जिसके तहत कम से कम 10 फीसदी कर्मचारियों को झटका लगेगा। वहीं, ओला कैब्स के सीईओ हेमंत बख्शी ने भी कंपनी छोड़ दी।

Ola Electric का पहले भी पुनर्गठन हो चुका है

यह पहली बार नहीं है कि ओला इलेक्ट्रिक अपने कारोबारी ढांचे में बदलाव कर रही है। इससे पहले, आईपीओ लाने से पहले कंपनी ने दो बार पुनर्गठन किया था। सितंबर 2022 में कारोबार को केंद्रीकृत करने के लिए नए कर्मचारियों की टीम की घोषणा की गई थी।

जुलाई 2022 में बड़े पैमाने पर पुनर्गठन योजना की घोषणा की गई थी। इसके तहत कंपनी के तीन कारोबार- यूज्ड कार, क्लाउड किचन और ग्रॉसरी डिलीवरी को बंद कर दिया गया और करीब 1 हजार कर्मचारियों की छंटनी की गई। कंपनी ने ऐसा इसलिए किया ताकि वह ईवी कारोबार पर ध्यान केंद्रित कर सके। इस छंटनी के बाद उसने ईवी कारोबार के लिए करीब 800 कर्मचारियों को नियुक्त करने की भी योजना बनाई। Ola Electric

Ola Electric की सेहत कैसी है

ओला इलेक्ट्रिक की वित्तीय सेहत की बात करें तो सितंबर 2024 तिमाही में सालाना आधार पर इसकी कमाई 896 करोड़ रुपये से उछलकर 1,246 करोड़ रुपये हो गई। इसे डिलीवरी में 73.6 प्रतिशत की वृद्धि से समर्थन मिला, जो इस दौरान 56,813 इकाइयों से बढ़कर 98,619 इकाइयों पर पहुंच गई। इस दौरान कंपनी का घाटा 524 रुपये से घटकर 495 रुपये पर आ गया।

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